Diksha Thakur

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लेखनी प्रतियोगिता -17-Oct-2022

कर्म 

चलते चलो, बढ़ते चलो 
अच्छे कर्म तुम करते चलो। 

रूको मत, झुको  मत
आगे तुम बढ़ते चलो। 

मत बनो तुम आलसी, 
बस निस्वार्थ अपना कर्म करते चलो। 

अच्छे कर्म अगर तुम करोगे, 
तो अपने कर्मों का फल अवश्य ही पाओगे। 

बुरे कर्म अगर तुम करोगे, 
तो कुछ हासिल नहीं कर पाओगे। 

तुम्हरे कर्मों पर ही टिकी है, 
तुम्हारे जीवन की कहानी। 

तुम्हारे कर्मों पर ही टिकी है, 
तुम्हरी पूरी जिंदगानी। 

चलते चलो, बढ़ते चलो 
अच्छे कर्म तुम करते चलो। 

रूको मत ,झुको मत 
आगे तुम बढ़ते चलो। 

दीक्षा ठाकुर ✍✍✍

नाॅन स्टाप राइटिंग चैलेंज 2022 प्रतियोगिता हेतू 
  

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9 Comments

Mahendra Bhatt

18-Oct-2022 12:57 PM

बहुत खूब

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Ali Ahmad

18-Oct-2022 09:21 AM

वाह एक तीर से दो निशाने सध रही है आप तो एक ही रचना दो में कैसे हो सकती है ये तो एक मे ही गिनी जाएगी न 🤔

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Diksha Thakur

21-Oct-2022 03:38 PM

Dono alag ha mane koi mixture nahi Kiya ha kavita me. ache se padh lo Mari Sabi kavitya topic k aadhar par likhi ha Sabi . I think your way of thinking is wrong

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Abhinav ji

18-Oct-2022 09:09 AM

Nice

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